AI-generated Summary, Reviewed by Patrika
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Ahmedabad. गुजरात भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के शनिवार रात घोषित नए संगठन में एक व्यक्ति-एक पद के नियम के साथ समझौता किया गया हो, ऐसा नजर आ रहा है।
ऐसा इसलिए है, क्योंकि पार्टी ने कई मौजूदा विधायक, सांसद को अहम जिम्मेदारी सौंपी है। कच्छ जिले की मांडवी सीट से विधायक अनिरुद्ध दवे को महामंत्री बनाया है। वडोदरा सांसद डॉ. हेमांग जोशी को भाजयुमो गुजरात प्रदेश का अध्यक्ष बना है। गुजरात एसटी मोर्चा अध्यक्ष की जिम्मेदारी सूरत की मांगरोल सीट से विधायक, पूर्व मंत्री तथा पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गणपत वसावा को सौंपी है। पंचमहाल जिले की हालोल सीट से विधायक व पूर्व मंत्री जयद्रथ सिंह परमार को पार्टी उपाध्यक्ष बनाया है।
नए संगठन में पार्टी ने युवाओं और महिलाओं पर भरोसा किया है। नए संगठन में प्रशांत कोराट को महामंत्री जैसा अहम पद दिया है। खेड़़ा जिले के अजय ब्रह्मभट्ट, सुरेन्द्रनगर से हितेन्द्र सिंह चौहान को भी महामंत्री बनाया है। 10 प्रदेश उपाध्यक्षों में 20 फीसदी यानी 2 महिलाओं को जिम्मेदारी सौंपी है, जिसमें पूर्व सांसद गीता राठवा और पूर्व विधायक झंखना पटेल शामिल हैं। 10 मंत्रियों में 60 फीसदी यानी 6 महिलाओं को स्थान दिया है। अच्छा काम करने वालों को पदोन्नति दी गई है। इसमें भाजयुमो गुजरात इकाई के अध्यक्ष रहे प्रशांत कोराट और खेड़ा जिला अध्यक्ष रह चुके अजय ब्रह्मभट्ट को महामंत्री बनाया है। एससी मोर्चा अध्यक्ष रहे गौतम गेडिया को प्रदेश उपाध्यक्ष बनाया है। मालधारी सेल संयोजक संजय देसाई को प्रदेश मंत्री, किसान मोर्चा के पूर्व महामंत्री हिरेन हीरपरा को किसान मोर्चा का अध्यक्ष बनाया है।
पार्टी ने अनुभव पर भी भरोसा जताया है, जिसमें कई पूर्व विधायक, सांसदों को अहम जिम्मेदारी सौंपी है। ताकि जातिगत और क्षेत्र के समीकरण भी सही बैठ सकें। मंत्रिमंडल में बदलाव के बाद की नाराजगी को भी दूर करने की कोशिश की गई है। पूर्व सांसद डॉ.किरीट सोलंकी को अल्पसंख्यक मोर्चा का अध्यक्ष बनाया है, तो पूर्व सांसद रमेश धड़ूक को प्रदेश उपाध्यक्ष, पूर्व विधायक व पूर्व मंत्री भरत पंड्या को उपाध्यक्ष बनाया है। पूर्व सांसद मोहन कुंडारिया को सह कोषाध्यक्ष की जिम्मेदारी सौंपी है।
कांग्रेस पार्टी छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले किसी भी नेता को नए संगठन में कोई पद नहीं दिया गया है।
यूं तो नए संगठन में भी पार्टी ने सभी क्षेत्र को तवज्जो देने की कोशिश की है,लेकिन मध्य गुजरात के 12 नेताओं को नए संगठन जिम्मेदारी मिली है। जबकि 11 जिलों वाले सौराष्ट्र को 8 पद, 6 जिलों वाले उत्तर गुजरात को पांच पद और सात जिलों वाले दक्षिण गुजरात को पांच पद नए संगठन में सौंपे गए हैं। इसमें महिला और आदिवासी मोर्चा के अध्यक्ष की कमान दक्षिण गुजरात के नेताओं को सौंपी गई है। कच्छ का एक प्रतिनिधित्व संगठन में अनिरुद्ध दवे के रूप में मौजूद है। 34 में से नौ जिलों को नए संगठन में कोई स्थान नहीं मिला है। विशेषरूप से गांधीनगर, पाटण इसमें शामिल हैं।
नए संगठन में पार्टी ने सभी जातियों को प्रतिनिधित्व देने की कोशिश की है। चार ब्राह्मण, तीन क्षत्रिय, तीन-तीन लेउआ और कड़वा पटेल, छह ओबीसी, तीन दलित और तीन आदिवासी शामिल हैं।
राजद के कई बड़े नेता और तेजश्री यादव की पत्नी ने कहा था कि बिहार में खेल होना अभी बाकि है। ऐसा होने के डर से ही नीतीश कुमार ने अपने विधायकों को फ्लोर टेस्ट से पहले विधानसभा के नजदीक चाणक्य होटल में रात को रुकवाया।

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Published on:
28 Dec 2025 10:37 pm


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