AI-generated Summary, Reviewed by Patrika
AI-generated Summary, Reviewed by Patrika

भीलवाड़ा के बारानी कृषि अनुसंधान केन्द्रआरजिया में मंगलवार से औषधीय पौधों की खेती और उनके संरक्षण को लेकर दो दिवसीय विशेष कृषक प्रशिक्षण कार्यक्रम का आगाज हुआ। राजस्थान स्टेट मेडिसिनल प्लांट्स बोर्ड जयपुर की ओर से आयोजित इस कार्यक्रम की शुरुआत भगवान धनवंतरि के पूजन के साथ हुई। प्रशिक्षण के पहले दिन जिले की छह पंचायत समितियों के करीब 85 प्रगतिशील किसानों ने भाग लिया।
केन्द्र के मुख्य वैज्ञानिक डॉ. ललित छाता ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि राजस्थान की विलुप्त होती औषधीय संपदा का कृषिकरण और संवर्धन आज के समय की बड़ी जरूरत है। उन्होंने किसानों को औषधीय पौधों की खेती के नए आयामों से अवगत कराते हुए इसे आय बढ़ाने का बेहतरीन जरिया बताया।
बोर्ड के नोडल अधिकारी डॉ. जेएस बेनीवाल ने प्रशिक्षण की रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए औषधीय पौधों की वैज्ञानिक खेती और मूल्य संवर्धन पर विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि किस तरह किसान अपनी उपज का प्रसंस्करण कर अधिक लाभ कमा सकते हैं। आयुर्वेद विभाग के उप निदेशक डॉ. महाराज सिंह ने आयुर्वेद औषधि निर्माण में गुग्गल, अश्वगंधा, सफेद मूसली, कालमेघ और शंखपुष्पी जैसे पौधों की उपयोगिता पर प्रकाश डाला।
सेवानिवृत्त शिक्षा अधिकारी राधेश्याम शर्मा ने किसानों को रासायनिक खेती के बजाय जैविक खेती अपनाने के गुर सिखाए। वहीं, कृषि अधिकारी गोविन्द गुर्जर ने खेती के दौरान आने वाली व्यावहारिक समस्याओं और उनके निराकरण के तरीके बताए। डॉ. लोकेश कुमार शर्मा ने औषधीय पौधों के संरक्षण एवं संग्रहण की तकनीकी जानकारी साझा की। संचालन डॉ. मुकेश वैष्णव, डॉ. शीला छीपा और डॉ. उगता मीणा ने किया।
राजद के कई बड़े नेता और तेजश्री यादव की पत्नी ने कहा था कि बिहार में खेल होना अभी बाकि है। ऐसा होने के डर से ही नीतीश कुमार ने अपने विधायकों को फ्लोर टेस्ट से पहले विधानसभा के नजदीक चाणक्य होटल में रात को रुकवाया।

क्या आपको लगता है कि यह टैरिफ भारत की अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा?
Published on:
23 Dec 2025 09:05 pm


यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।
हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है
दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।