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अब पहले से अधिक सुरक्षित होंगे ‘रेगिस्तान के जहाज’

हनुमानगढ़. मंगला पशु बीमा योजना में इस बार किए गए बदलावों से ऊंट पालक काफी खुश नजर आ रहे हैं। अबकी दफा सरकार ने एक की बजाय दस ऊंटों का मुफ्त बीमा करवाने की सुविधा शुरू की है।

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हनुमानगढ़ में पशुपालक को बीमा संबंधी दस्तावेज सौंपती टीम।
हनुमानगढ़ में पशुपालक को बीमा संबंधी दस्तावेज सौंपती टीम।

हनुमानगढ़. मंगला पशु बीमा योजना में इस बार किए गए बदलावों से ऊंट पालक काफी खुश नजर आ रहे हैं। अबकी दफा सरकार ने एक की बजाय दस ऊंटों का मुफ्त बीमा करवाने की सुविधा शुरू की है। इससे ऊंट पालन को बढ़ावा मिलने के आसार हैं।
बीमा योजना के मुताबिक किसी कारण से ऊंट की मौत होने पर प्रति ऊंट चालीस हजार रुपए की सहायता राशि पशुपालकों को दी जाएगी। इस तरह किसी तरह किसी के पास यदि दस ऊंट हैं तो वह उसका एक साथ बीमा करवा सकता है।
अगर इनमें सभी बीमित दस ऊंटों की मौत हो जाती है तो सरकार स्तर पर पशुपालक को कुल चार लाख रुपए की सहायता राशि मिल सकेगी। हनुमानगढ़ जिले में इस बार 8500 ऊंटों का बीमा करवाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।
इसी तरह 20200 गोवंश, 11200 भैंस, 10600 भेंड़, 3700 बकरी सहित कुल 54200 पशुओं का बीमा इस वर्ष करवाने का लक्ष्य आवंटित किया गया है। इसमें अब तक करीब 4600 पशुओं का बीमा हुआ है। अपने जन आधार कार्ड के माध्यम से पशुपालक बीमा करवा सकते हैं। नई व्यवस्था से इस बार पहले की तुलना में ‘रेगिस्तान के जहाज’ ज्यादा सुरक्षित हो सकेंगे।

इनको प्राथमिकता दे रहे
राज्य सरकार की ओर से प्रदेश में पशुपालकों को पशुधन हानि से आर्थिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना 2025-26 संचालित की जा रही है। जन आधार कार्ड धारक, गोपाल क्रेडिट कार्डधारक पशुपालक तथा लखपति दीदी समूह से जुड़ी पशुपालक महिलाओं को प्राथमिकता के आधार पर शामिल किया जाएगा। जिले में बीमा आवेदन लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर आवेदनों को स्वीकृति मिलेगी। बीमा योजना में बीमा के लिए पशुओं की टैगिंग अनिवार्य रखी गई है।

चयनित पशुपालकों के अधिकतम दो दुधारू पशु (गाय/ भैंस) या 10 बकरी, 10 भेड़ अथवा 10 ऊंटवंशीय पशुओं का नि:शुल्क बीमा किया जा रहा है। योजना का क्रियान्वयन ट्रस्ट मोड पर राज्य बीमा एवं प्रावधायी निधि विभाग द्वारा किया जा रहा है। जबकि नोडल विभाग पशुपालन विभाग है। उक्त बीमा योजना में पशुओं की मौत पर प्रति पशु 40 हजार रुपए का बीमा क्लेम दिया जाता है। पूरे प्रदेश में इस बार मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना के तहत 21 लाख पश्ुाओं का बीमा करवाने का लक्ष्य दिया गया है।

पशुपालकों को कर रहे जागरूक
वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. महावीर सहारण ने बताया कि इस बार गांवों में शिविर लगाकर पशु पालकों को बीमा करवाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। रावतसर व पल्लू क्षेत्र में ऊंट पालकों को नई सुविधा की जानकारी दी जा रही है। ताकि वह पशुओं का नि:शुल्क बीमा करवा सकें।

54200 का लक्ष्य
मुख्यमंत्री मंगला पशु बीमा योजना के तहत जिले को लक्ष्य आवंटित कर दिया गया है। 54200 पश्ुाओं का बीमा करवाने का लक्ष्य है। इसमें अब तक 4600 पशुओं का बीमा किया गया है। गांवों में लग रहे शिविर में पशुपालक लगातार आ रहे हैं। इस बार एक जन आधार कार्ड पर दस ऊंटों का बीमा करवाने की सुविधा दी गई है। पहले ऐसा नहीं था।
-सुरेंद्र गेदर, वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी, पशुपालन विभाग हनुमानगढ़।

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टिप्पणियाँ (43)

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है

सोनिया वर्मा
सोनिया वर्माjust now

दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।

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