AI-generated Summary, Reviewed by Patrika
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जबलपुर. मप्र पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी के जबलपुर संभाग में मल्टीप्लाइंग फैक्टर में गड़बड़ी के मामले सामने आए हैं। अभियंताओं की ओर से सही तरीके से गुणांक कर बिल नहीं निकाला गया। इस कारण कम्पनी को आर्थिक नुकसान हुआ।
कंपनी को लगी बड़ी चपत तब दिए गए जांच के आदेश
जबलपुर संभाग के चीफ इंजीनियर की ओर से सीटी ऑपरेटेड मीटरों की जांच कराई जा रही है। बिल निकालने वाले अभियंता को नोटिस दिया जाएगा। मल्टीप्लाइंग फैक्टर में गड़बड़ी का पता कम्पनी के अधिकारियों को तब चला, जब करंट ट्रांसफार्मर ऑपरेटड मीटर वाले उपभोक्ताओं के यहां बिजली बिल उनके स्वीकृत भार से कम आए।
जानकारी के अनुसार शहर में पांच से सात हजार ऐसे कनेक्शन हैं, जहां सीटी (करंट ट्रांसफार्मर) ऑपरेटेड मीटर लगाए जाते हैं। यह मीटर उन उपभोक्ताओं के यहां लगाए जाते हैं, जहां 25 किलोवॉट से अधिक भार स्वीकृत होता है। यह मीटर बड़े संस्थानों, मॉल, शॉप और अन्य स्थानों पर हैं।
क्या होता है मल्टीप्लाइंग : 25 किलोवॉट से अधिक भार स्वीकृत वाले उपभोक्ताओं के यहां मीटर के साथ करंट ट्रांसफार्मर ऑपरेटड मीटर लगाया जाता है। यह उपभोक्ता के मीटर में जाने वाली बिजली की खपत की जानकारी देता है। करंट ट्रांसफार्मर ऑपरेटड मीटर के जरिए खपत निकाली जाती है। जबलपुर संभाग के मुख्य अभियंता अरविंद चौबे के अनुसार मल्टीप्लाइंग फैक्टर को लेकर अभियान चलाया जा रहा है। जिन अभियंताओं के क्षेत्र में गड़बड़ी मिलेगी उन्हें नोटिस थमाया जाएगा।
राजद के कई बड़े नेता और तेजश्री यादव की पत्नी ने कहा था कि बिहार में खेल होना अभी बाकि है। ऐसा होने के डर से ही नीतीश कुमार ने अपने विधायकों को फ्लोर टेस्ट से पहले विधानसभा के नजदीक चाणक्य होटल में रात को रुकवाया।

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Published on:
24 Feb 2023 01:00 pm


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