AI-generated Summary, Reviewed by Patrika
AI-generated Summary, Reviewed by Patrika

जयपुर. बारिश की बूंदों के जलतरंग के बीच सूफी संगीत की दिलसोज कसक और घराना संगीत की साधना से निकली तबले की थाप राजस्थान इंटरनेशनल सेंटर के मेन ऑडिटोरियम में दर्शकों के दिल में उतर गई। पांच दिवसीय 'सप्तरंग' डांस और म्यूजिक फेस्टिवल के दूसरे दिन सोमवार को कोलकाता की फीमेल तबला वादक रिम्पा शिवा और चंडीगढ़ से आईं सूफी गायिका डॉ. ममता जोशी ने साजिंदों के अलावा मौसम के साथ भी संगत की।

'शिवा' ने की शुरुआत
कार्यक्रम की शुरुआत रिम्पा शिवा ने अपनी सोलो तबला परफॉर्मेंस से की। दुनियाभर में परफॉर्म कर चुकीं रिम्पा ने जैसे ही तबले पर पहली थाप दी, माहौल में फर्रुखाबाद घराने का रस घुल गया। उन्होंने अपनी हथेलियों का जादू बिखेरते हुए दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।

युवा पीढ़ी को सूफी संगीत से जोड़ना जरूरी
सूफी एक पोएट्री है, जिसे धुनों और साजों में पिरोने पर वह सूफी संगीत बन जाता है। अपनी गायकी से मैं कबीर और हजरत अमीर खुसरो के सूफी कलामों को युवा पीढ़ी तक पहुंचाने की कोशिश करती हूं। मैं उनके लिखे कलामों के भाव को अपनी गायकी से लोगों को जोडऩे का प्रयास करती हूं, ताकि लोग इसे ट्रेडिशनल म्यूजिक समझ यूथ छिटक न जाए। फरीद अयाज साहब मेरी इंस्पिरेशन हैं। फ्यूजन में भाव खत्म नहीं होना चाहिए। फ्यूजन संगीत की एक हद तय करना जरूरी है। आर्टिस्ट की निजी चॉइस का भी काफी असर पड़ता है।
राजस्थान और पंजाब में संगीत है साधना का माध्यम
ममता ने बताया, 'राजस्थान और पंजाब का संगीत 'मार्गी' (राह दिखाने वाला) है। राजस्थान की मिट्टी में मीराबाई के संगीत की विरासत रची-बसी है, तो पंजाब में बाबा फरीद की रूहानियत सुरों में बसी हुई है। दोनों प्रदेशों में संगीत को साधना का माध्यम बनाया गया है। मीरा, फरीद और बुल्लेशाह का संगीत रूह को पाक कर ईश्वर में रम जाने की राह दिखाता है।' ममता ने कबीर के दोहे, 'दमा दम मस्त कलंदर', 'सांसों की माला पे' और राजस्थानी गीत 'म्हारी ये मंगेतर' से समापन किया।

राजद के कई बड़े नेता और तेजश्री यादव की पत्नी ने कहा था कि बिहार में खेल होना अभी बाकि है। ऐसा होने के डर से ही नीतीश कुमार ने अपने विधायकों को फ्लोर टेस्ट से पहले विधानसभा के नजदीक चाणक्य होटल में रात को रुकवाया।

क्या आपको लगता है कि यह टैरिफ भारत की अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा?
Published on:
19 Sept 2023 04:44 pm


यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।
हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है
दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।