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यूरिया, बदली टोकन व्यवस्था शहर में दौड़ते रहे ‘अन्नदाता’

रतलाम. यूरिया की कमी के चलते किसानों के साथ ही प्रशासनिक अमला भी दिन-रात मशक्कत कर रहा हैं। किसान अलसुबह दोपहर के बाद शाम तक शहर में दौड़ भाग कर रहा है, प्रशासनिक अमला भी जैसे भी किसान परेशान न हो ओर यूरिया मिले की व्यवस्था में लगा हुआ हैं। नकद वितरण केंद्रों रात न […]

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नकद वितरण केंद्रों से कलेक्टोरेट, तहसील कार्यालय से निजी दुकानों तक किसानों की भीड़

रतलाम. यूरिया की कमी के चलते किसानों के साथ ही प्रशासनिक अमला भी दिन-रात मशक्कत कर रहा हैं। किसान अलसुबह दोपहर के बाद शाम तक शहर में दौड़ भाग कर रहा है, प्रशासनिक अमला भी जैसे भी किसान परेशान न हो ओर यूरिया मिले की व्यवस्था में लगा हुआ हैं। नकद वितरण केंद्रों रात न गुजार इसके लिए प्रशासनिक अमले दिन में तहसील कार्यालय में टोकन की व्यवस्था की, लेकिन पहले दिन किसान टोकन के बाद खाद के लिए भटकता रहा। तहसील कार्यालय से दोपहर में 350 किसानों को टोकन वितरण किए गए, दूसरी तरफ शेष बचे किसानों को नकद वितरण केंद्रों से खाद वितरण होता रहा। बुधवार से दोपहर 1 से 2 बजे के मध्य तहसील कार्यालय में टोकन वितरण की व्यवस्था की गई।

मंगलवार दोपहर करीब 3.30 बजे तक 350 किसानों को टोकन वितरण किए। इसमें तीन कलर में टोकन तीन केंद्रों अलग-अलग बांटे गए। इसके बाद केंद्र बंद करने पर भी करीब 90-100 किसान टोकन से वंचित रह गए थे जो नाराज होकर कलेक्टोरेट पहुंचें, कुछ किसानों ने टोकन वितरण केंद्र बढ़ाने की मांग की। तहसीलदार ऋषभ ठाकुर की समझाइश के बाद यहां से किसानों की सूचि बनाकर निजी खाचरौद रोड स्थित दो दुकानों पर खाद के लिए पहुंचाया गया। जहां कृषि अधिकारी केएस वसुनिया, बीसी डोडियार और प्रशासनिक कर्मचारियों की मौजूदगी में लाइन लगाकर देर शाम तक प्रति किसान को दो-दो बोरी यूरिया उपलब्ध कराया जा रहा था।


मैं बीजीपी का खास आदमी फिर भी दु:खी
तहसील कार्यालय पर टोकन वितरण स्थल पर सैलाना के दिवेल से आए किसान झब्बालाल पााटीदार ने व्यवस्था से नाराज होते हुए कहा कि…मंू खास बीजीपी को आदमी फिर भी दु:खी हूं…। सैलाना मंडी से हमारे यहां भेजा तहसीलदार ने, 90 बीघा का काश्तकार हूं मैं, पावती पड़ी है। खाद चाहिए किसी भी गोदाम पर पहुंचा दें, पांच बीघा पर दो बोरी दे रहे थे। हमें एक बीघा पर एक बोरी चाहिए। रात 3 बजे से आए हुए है, दोपहर 2 बजे टोकन देंगे पूरा दिन खराब हो गया। दंतोडिय़ा से आए वीरेंद्र पाटीदार ने बताया कि प्रति बीघा एक बोरी किसान को खाद मिलना चाहिए, हम रात 11 के बाद 3 बजे से आए हुए है। किसान तीन-चार दिन से परेशान हो रहे हैं। हम साधन लेकर मंडी आते है तो खाद लेकर चले जाते, अब दो बार आना पड़ेगा।


सुबह बताया टोकन तहसील में मिलेगा
तहसील कार्यालय में 1 नंबर पर बैठे कांडरवासा के किसान मांगीलाल धाकड़ ने बताया कि कल रात 10 बजे बिरियाखेड़ी थे, सुबह बताया कि टोकन तहसील कार्यालय से लेकर आएंगे उन्हे खाद मिलेगा, तो 10 बजे से यहां आ गए, कई किसान तो पुरानी तहसील में भी पहुंच गए। हमारा बिस्तर बिरियाखेड़ी में पड़ा हैं। बगैर खाद के पानी नहीं पिला सकते, नहीं तो पौधे पीले पड़ जाएगे। दो बार खाद की बहुत आवश्यकता हैं। बरबोदना से आए किसान भूपेंद्रसिंह राठौर व लाखनसिंह ने बताया कि रात से मंडी में थे।


इनका कहना है
तहसील कार्यालय से किसानों को खाद के लिए टोकन वितरण 1 से 2 बजे तक व्यवस्था की गई है। उर्वरक की उपलब्धता के अनुसार ही वितरण किया जा रहा है। इफको की रैक लगी हुई है, कल टोकन मिलेगा तो अगले दिन खाद वितरण होगा।
नीलमसिंह चौहान, उपसंचालक कृषि


टोकन वितरण व्यवस्था
तहसील कार्यालय से दोपहर में 350 किसानों को टोकन वितरण किए हैं, जो बचे थे उन्हे निजी दुकानों पर पहुंचाए गए। आज एक रैंक लगी है, एक 18 दिसंबर को दूसरी रैक लगेगी। टोकन वितरण व्यवस्था यथावत रहेगी।
यशवर्धनसिंह, डीएमओ विपणन संघ

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टिप्पणियाँ (43)

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है

सोनिया वर्मा
सोनिया वर्माjust now

दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।

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