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निर्यात खुलते ही प्याज के भावों में आई तेजी, प्याज उत्पादक किसानों को मिली राहत

सीकर. प्रदेश में प्याज उत्पादन पर दूसरे पायदान पर सीकर जिले में प्याज उत्पादन करने वाले किसानों के लिए राहत की खबर है। देश से प्याज के निर्यात पर लगी पाबंदियां हटते ही थोक व खुदरा बाजार में इसका सीधा असर देखने को मिला है। एक सप्ताह के भीतर प्याज के थोक भावों में तेज बढ़ोतरी दर्ज की गई है,

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सीकर. प्रदेश में प्याज उत्पादन पर दूसरे पायदान पर सीकर जिले में प्याज उत्पादन करने वाले किसानों के लिए राहत की खबर है। देश से प्याज के निर्यात पर लगी पाबंदियां हटते ही थोक व खुदरा बाजार में इसका सीधा असर देखने को मिला है। एक सप्ताह के भीतर प्याज के थोक भावों में तेज बढ़ोतरी दर्ज की गई है, जिससे लंबे समय से घाटे का सामना कर रहे प्याज उत्पादक किसानों को बड़ी राहत मिली है। व्यापारियों की माने तो प्याज के भावों में आई तेजी से जहां एक ओर आमजन को महंगे भावों में प्याज मिलेगा वहीं प्याज उत्पादक किसानों को उनकी मेहनत का मोल मिलने लगा है। सीकर मंडी में इस समय अलवर, नासिक सहित स्थानीय क्षेत्रों से भी प्याज की बोरियां आ रही है। सीकर मंडी में इन दिनों प्याज के थोक भाव औसतन पन्द्रह से सोलह रुपए प्रतिकिलो तक पहुंच गए हैं जबकि एक सप्ताह ये थोक भाव 6 से 7 रुपए तक बोले जा रहे थे। सीकर, रसीदपुरा, अलवर, नासिक से प्याज आने लगा है। गौरतलब है कि सीकर जिले में सर्दी के सीजन में प्याज की खेती से सीधे तौर पर करीब पचास हजार किसान जुड़े हुए हैं।

धोद क्षेत्र में ज्यादा बुवाई

शेखावाटी की आबोहवा के अनुसार सर्दी के सीजन का प्याज अगस्त माह में बोया जाता है। व्यापारियों के अनुसार इस बार मानसून सीजन के दौरान अच्छा मौसम रहने के कारण प्याज के बीज के भाव भी कम रहे। जिससे जिले में प्याज की बुवाई करीब 15 हजार हेक्टैयर से ज्यादा क्षेत्र में हुई है उत्पादन भी अच्छा मिला। सीजन की शुरूआत से प्याज के औसत भाव लागत मूल्य से कम रहे हैं जबकि एक एकड़ प्याज की खेती पर लगभग एक लाख रुपए से ज्यादा रुपए की लागत आती है। एक एकड़ में प्याज की औसतन उपज की लागत करीब 16 रुपए प्रति किलो तक आंकी जाती है। इसके अलावा जिले में पिछले दिनों हुई बैमौसम की बारिश से अधिकांश जगह प्याज की पौध नष्ट हो गई थी जिससे प्याज उत्पादकों को नई पौध लगाने के लिए दोबारा खर्च करना पड़ा। ऐसे में अब निर्यात खोलने से प्याज उत्पादक किसानों को पिछले सीजन की तुलना में अच्छे भाव मिलने के आसार है।

इनका कहना है

निर्यात खोलने से एक सप्ताह में प्याज के थोक भावों में तेजी आई है। मंडी में इस समय प्याज के औसत थोक भाव पन्द्रह से 16 रुपए तक बोले जा रहे हैं। भावों में तेजी आने से किसानों को प्याज का लागत मूल्य मिलने लगा है। प्याज के भाव गुणवत्ता के आधार पर तय किए जाते हैं।

देवीलाल चौधरी, थोक प्याज विक्रेता, सीकर मंडी

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टिप्पणियाँ (43)

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।

राहुल शर्मा
राहुल शर्माjust now

हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है

सोनिया वर्मा
सोनिया वर्माjust now

दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।

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