AI-generated Summary, Reviewed by Patrika
AI-generated Summary, Reviewed by Patrika

Aurangzeb Kabar News: खुल्दाबाद का नाम शायद ही इससे पहले कोई जानता हो। ये वो जगह है जहां पर औरंगजेब की कब्र (Aurangzeb Ki Kabar) है। ये नागपुर से करीब 500 किलोमीटर दूर है लेकिन नागपुर हिंसा (Nagpur Violence) की लपटें यहां तक पहुंच गई। यही वजह है कि खुल्दाबाद (Khuldabad Tomb) जैसी 'अपता' सी जगह पर दफन औरंगजेब की कब्र को अब तोड़ने या मिटाने को लेकर कुछ हिंदू संगठन मांग कर रहे हैं। इसी सिलसिले में हम जान लेते हैं कि जहां पर औरंगजेब को दफन किया गया, वहां पर और किसकी कब्र है? साथ ही जान लें कि मुगल शासकों की कब्रें और कहां-कहां हैं? और जहां-जहां मुगल बादशाहों की कब्र है क्या उनको भी तोड़ने का काम किया जाएगा।
औरंगजेब ने कहा था कि उसे सादगी के साथ ज़ैनुद्दीन शिराजी के पास दफन किया जाए। ये औरंगजेब की अंतिम इच्छा थी जिसको मरणोपरांत पूरा भी किया गया। ज़ैनुद्दीन शिराजी को औरंजेब गुरु मानता था। बता दें, उस वक्त कब्र के निर्माण में 14 रुपए 12 आने की लागत आई थी। साथ ही आपको जानकर ये रकम भी औरंजेब ने खुद से कमाई थी। भारतीय पुरात्व सर्वेक्षण के 'औरंगजेब का मकबरा' में ये दर्ज है कि कब्र का खर्च उठाने के लिए वो टोपी बनाने का काम किया था।
जैसा कि इतिहासकार बताते हैं औरंजेब ने खुद इच्छा जताई थी कि सैयद जैनुद्दीन सिराज की कब्र के पास ही दफन किया जाए। इसलिए औरंगजेब की कब्र वहीं पर बनी। साथ ही औरंगजेब के मकबरे के पास ही उनके बेटे आजम शाह का मकबरा है।
औरंगजेब की कब्र खुले आसमान के नीचे है। कई मुगलों की कब्रें आलीशान रूप से बनाई गईं थीं लेकिन औरंगजेब ऐसा नहीं चाहता था। इसलिए इसे सिंपल ही रखा गया। इस कब्र के ऊपर सब्जा का पौधा है जिसे मीठी तुलसी भी कहते हैं।
औरंगजेब के बारे में खास बातें

औरंगजेब क्रूर शासन के लिए जाना जाता हो। मगर औरंगजेब को साहत्यि से लगाव रहा। औरंगजेब ने इस्लामी धार्मिक साहित्य के तुर्की साहित्य भी खूब पढ़ा। साथ ही हस्तलिपि विद्या में औरंगजेब को महारत हासिल थी। इसके अलावा कहा जाता है कि वो हिंदी भी बहुत अच्छी बोल लेता था।
राजद के कई बड़े नेता और तेजश्री यादव की पत्नी ने कहा था कि बिहार में खेल होना अभी बाकि है। ऐसा होने के डर से ही नीतीश कुमार ने अपने विधायकों को फ्लोर टेस्ट से पहले विधानसभा के नजदीक चाणक्य होटल में रात को रुकवाया।

क्या आपको लगता है कि यह टैरिफ भारत की अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा?

लव सोनकर
लव सोनकर - 9 सालों से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय हैं। पिछले 7 सालों से डिजिटल मीडिया से जुड़े हुए हैं और कई संस्थानों में अपना योगदान दि है। कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता ए...और पढ़ें...
Published on:
21 Mar 2025 03:29 pm


यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है... यह निर्णय वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा।
हाँ, ये सोचने वाली चीज़ है
दिलचस्प विचार! आइए इस पर और चर्चा करें।